राज्य स्थापना दिवस पर सीएम धामी की 11 बड़ी घोषणाएं: आत्मनिर्भर उत्तराखंड की दिशा में नया संकल्प

देहरादून में शुक्रवार को आयोजित उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस के रजत जयंती समारोह में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने विकास और आत्मनिर्भरता पर केंद्रित 11 अहम घोषणाएं कीं। इस दौरान उन्होंने कहा कि अगले पांच वर्षों में राज्य की कृषि भूमि का सर्वेक्षण और बंदोबस्त कार्य पूरा किया जाएगा, ताकि भूमि विवादों को सुलझाया जा सके और किसानों को सटीक जानकारी मिल सके।
समारोह की शुरुआत देहरादून की पुलिस लाइन परिसर में हुई रैतिक परेड से हुई, जिसमें राज्यपाल ले. जनरल गुरमीत सिंह ने परेड की सलामी ली। वंदे मातरम् के स्वर से कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने उत्तराखंड पुलिस पत्रिका का विमोचन किया और रजत जयंती पुलिस पदक का प्रतीक चिह्न अनावरण किया। पुलिस के विभिन्न दस्तों ने साहसिक परेड और प्रदर्शन से दर्शकों का मन मोह लिया।
राज्यपाल गुरमीत सिंह ने नागरिकों से ‘मेड इन इंडिया’ उत्पादों को प्राथमिकता देने की अपील करते हुए कहा कि यही आत्मनिर्भर भारत और आत्मनिर्भर उत्तराखंड का सबसे बड़ा मंत्र है। उन्होंने युवाओं को स्टार्टअप, इनोवेशन और तकनीक के क्षेत्र में आगे बढ़ने का संदेश दिया।
राज्यपाल ने कहा, “पिछले 25 वर्षों में उत्तराखंड ने कठिन परिश्रम और लगन से जो प्रगति हासिल की है, वह हर नागरिक के समर्पण की मिसाल है। आज कई युवा गांवों में लौटकर आत्मनिर्भरता की नई कहानी लिख रहे हैं।” इस अवसर पर पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को पुलिस पदक से सम्मानित किया गया।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की 11 प्रमुख घोषणाएं:
1. कृषि भूमि सर्वेक्षण: अगले पाँच वर्षों में संपूर्ण राज्य की कृषि भूमि का सर्वेक्षण और बंदोबस्त कार्य पूरा किया जाएगा।
2. साइबर क्राइम कंट्रोल: राज्य में स्टेट साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर (S4C) की स्थापना होगी।
3. ड्रग्स-फ्री देवभूमि: एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स का विस्तार कर नशामुक्त उत्तराखंड अभियान को गति दी जाएगी।
4. भोजन माताओं का कल्याण कोष: राजकीय विद्यालयों में कार्यरत भोजन माताओं के लिए एक विशेष वेलफेयर फंड बनाया जाएगा।
5. फार्म फेंसिंग पॉलिसी: जंगली जानवरों से फसलों की सुरक्षा के लिए नई फार्म फेंसिंग पॉलिसी लाई जाएगी।
6. पारंपरिक जल स्रोत संरक्षण: परंपरागत जल स्रोतों के पुनर्जीवन हेतु एक विशेष योजना शुरू की जाएगी।
7. स्किल डेवलपमेंट: उच्च शिक्षा के विद्यार्थियों के लिए ऑनलाइन स्किल कोर्सेज उपलब्ध कराए जाएंगे।
8. ऑनलाइन कोचिंग: सिविल सर्विसेज, बैंकिंग, मैनेजमेंट और NET जैसी परीक्षाओं की तैयारी के लिए डिजिटल कोचिंग प्लेटफॉर्म शुरू होगा।
9. केदारखंड माला मिशन: धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए केदारखंड माला मिशन की शुरुआत की जाएगी।
10. रुद्रप्रयाग मॉडल जिला: चंपावत की तर्ज पर रुद्रप्रयाग को आदर्श जिला के रूप में विकसित किया जाएगा।
11. टेक-ड्रिवन गवर्नेंस: तकनीकी नवाचार और डिजिटल पारदर्शिता पर आधारित प्रशासनिक सुधारों को प्राथमिकता दी जाएगी।



